
Hindenburg Research New Report, SEBI Chief Madhabi Butch: हिंडनबर्ग रिसर्च ने नया दावा कर कहा है कि माधबी बुच ने अपने जवाब में कुछ आरोपों को स्वीकार कर लिया है।
Hindenburg Research New Claim Madhabi Butch: अमेरिकी शॉर्ट सेलर कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च की नई रिपोर्ट से एक बार फिर भारत में बवाल मच गया है। साल 2023 में अडानी ग्रुप (Adani Group) पर कई आरोप लगाने के बाद इस बार फर्म ने बाजार नियामक SEBI पर निशाना साधा है। शनिवार रात हिंडनबर्ग ने एक नई रिपोर्ट जारी की थी जिसमें सेबी प्रमुख माधबी बुच और उनके पति धवल बुच पर कई गंभीर आरोप लगाए गए थे और उन दोनों के अडानी ग्रुप के साथ मिले होने की बात कही। इस रिपोर्ट में कहा गया कि कई सबूत होने के बाद भी वित्तीय लाभों के चलते सेबी ने अडानी समूह पर कोई कार्रवाई नहीं की।
इसके बाद रविवार (11 अगस्त) को सेबी प्रमुख माधबी बुच ने बयान जारी किया और हिंडनबर्ग पर उनके ‘चरित्र हनन’का प्रयास करने के आरोप लगाए। अब एक बार फिर हिंडनबर्ग की तरफ से नए दावे किए गए हैं।
हिंडनबर्ग ने सोशल मीडिया X (Twitter) पर नई पोस्ट कर नया दावा किया है। हिंडनबर्ग की नई पोस्ट में कहा कि SEBI चीफ माधबी बुच ने अपनी सफाई में कुछ आरोप स्वीकारे हैं। हिंडनबर्ग ने दावा किया कि बरमूडा-मॉरिशस फंड में सेबी चेयपर्सन के निवेश की पुष्टि होती है। सोमवार (12 अगस्त 2024) सुबह हिंडनबर्ग के अकाउंट पर की गई पोस्ट में यह दावा भी किया गया है कि अगोरा एडवाइजरी लिमिटेड का हक माधबी बुच के पास है।
इसके अलावा हिंडनबर्ग ने दावा किया कि 16 मार्च 2022 तक अगोरा पार्टनर्स सिंगापुर की 100 प्रतिशत शेयरधारक माधबी बुच रही हैं।
हिंडनबर्ग ने दावा किया है कि माधबी बुच ने यह भी पुष्टि कर दी है कि इन फंड को उनके पति के बचपन के एक दोस्त द्वारा चलाया जा रहा था जो उस समय अडानी में डायरेक्टर भी थे। सेबी को अडानी मामले में इन्वेस्टमेंट फंड्स की जांच से जुड़ा काम सौंपा गया था, जिनमें वो फंड्स भी शामिल थे जिनमें मिस बुच ने निजी तौर पर निवेश किया था और वो फंड्स भी शामिल थे जिनके बारे में हमने अपनी ओरिजिनल रिपोर्ट में जिक्र किया था। निश्चित तौर पर यह हितों का टकराव (conflict of interest) है।
हिंडनबर्ग रिपोर्ट पर SEBI चीफ का बयान
सेबी चीफ और उनके पति ने एक संयुक्त बयान जारी करते हुए कहा, ’10 अगस्त 2024 को हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में हमारे खिलाफ जो आरोप लगाए गए हैं उनके बारे में हम कहना चाहते हैं कि हम पर लगाए गए आरोप निराधार हैं और हम उनका दृढ़ता से खंडन करते हैं। इनमें कोई सच्चाई नहीं है। हमारी जिंदगी और वित्तीय स्थिति एक खुली किताब है। वित्तीय जानकारी का खुलासा कुछ साल पहले ही SEBI को किया जा चुका है।’ पूरी खबर यहां पढ़ें